जानिए बच्चो के जरुरी टीके और टीकाकरण का महत्व

जानिए बच्चो के जरुरी टीके और टीकाकरण का महत्व

माँ बनना हर औरत का सपना होता है| हर माँ चाहती है की उसका बच्चा स्वस्थ हो| इसके लिए उसके जन्म से पहले से ही वो अपना ख्याल रखती है, ताकि स्वस्थ बच्चे को जन्म दे सके| बच्चे का जन्म होने के बाद भी बच्चे का बहुत ख्याल रखना पढता है|

इसलिए ही बच्चे की उचित देखभाल से जुड़े बहुत से सवाल हर नई मां को परेशान करते हैं| हर माँ जानती है कि शिशु की अच्छी सेहत और समुचित विकास के लिए उसका खास ख्याल रखना जरुरी है| लेकिन क्या और कैसे करना है? यह सब उसके लिए पहेली होती है|

अगर आप भी नयी नयी माँ बनी है तो हम आपको बताना चाहते है की गंभीर बीमारियो से बच्चो को बचाने के लिए उन्हें टिका लगाना आव्यशक है, इसे सही समय पर लगवाना अनिवार्य होता है। क्योंकि  यह टीके बच्चो को गंभीर बीमारियो से लड़ने में मदद करते है| आज हम उन महत्वपूर्ण टीको के बारे में  बताएँगे की कौनसा टिका कब लगाना चाहिए| आइये जाने Baby Vaccinations in Hindi.
 

Baby Vaccinations in Hindi: बच्चों के लिए जरूरी टीके

 

Baby Vaccinations in Hindi

 

डिप्थेरिया

डिप्थेरिया एक प्रकार का संक्रमण होता है, जो 2 से 10 वर्ष तक की उम्र वाले बच्चो में होता है, यह  नाक, मुँह और त्वचा को प्रभावित करता है। यह रोग किसी रोगी या संक्रमित व्यक्ति के सम्पर्क में आने से फैलता है। इससे प्रभावित को बुखार, गले मे ख़राश आदि कठिनाई हो सकती है। लेकिन गंभीर मामले में इसमें सांस लेने में रुकावट हो सकती है|

इससे सुरक्षा के लिए बच्चे को एक साल की उम्र तक डीटीएपी-आईपीवी टीके की 3 खुराक दे देनी चाहिए (2 महीने में, 4 महीने में और 6 महीने में)| और 18 महीने के होने के बाद एक और बूस्टर खुराक दिलवा दे|
 

हेपेटाइटिस बी

टिका बीमारियो को बचाने में सहायक रहता है, और Hepatitis B Vaccine बच्चो के लिए सबसे ज्यादा जरुरी इसलिए होता है| यह टिका बच्चो के लिवर में इन्फेक्शन फ़ैलाने वाले वायरस से लड़ता है| बच्चे के जन्म के बाद ही इस टिके को लगवा ले, दूसरा डोज एक या फिर दो महीनो में लगवाये, और तीसरा 6 से 8 महीने में लगवाये।
 

खसरा

आपको शायद जानकर यकीन नहीं होगा, लेकिन दुनिया भर में हर दिन 450 लोग खसरे के कारण मारे जाते हैं। जिसमे बच्चों की संख्या बहुत ज्यादा है। यह एक बेहद ही संवेदनशील और संक्रमण वाली बीमारी है| इसमें पहले तीन चार दिन तक तेज बुखार आता है जो 104 डिग्री तक भी पहुंच सकता है। इसमें दिखाई देने वाले तीन लक्षण है:- कफ, काराईजा और कन्जक्टिवाइटिस।

खसरे का टीका नौ माह की उम्र में सबसे प्रभावी नतीजे देता है। इस उम्र में इसकी प्रभाविता 85 प्रतिशत तक होती हैं। इसलिए 9 माह में बच्चे को यह टिका जरूर लगवाये|
 

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चिकनपॉक्स

चिकनपॉक्स को छोटी माता कहा जाता है| यह वेरीसेल्ला जोस्टर वायरस से फैलनेवाली एक संक्रामक बीमारी है। आजकल इसके लिए भी टीका उपलब्ध है जो कि 12 से 15 महीने तक की आयु में दिया जा सकता है|

चिकन पॉक्स की शुरुआत में पहले शरीर में हल्की बुखार, हल्की खांसी, सर में दर्द आदि लक्षण नज़र आते हैं और 24 घंटों के पश्चात पेट, पीठ और चेहरे पर लाल खुजलीदार फुंसियां उभरने लगती हैं, और बाद में धीरे धीरे यह पुरे शरीर में फ़ैल जाती है|
 

पोलियो वैक्सीन

पोलियो का टिका बच्चो के लिए सबसे ज्यादा जरुरी होता है, अगर यह समय पर नहीं लगवाया जाये तो इससे बच्चो को आईपीवी नामक वायरस फैलने का खतरा बड़ जाता है। इसलिए इस टिके को दो , चार, छः महीने में या फिर 4 से 6 साल की उम्र में लगवा देना होता है।
 

टिटनस

मनुष्यों के घाव में संक्रमण होने से टिटनस होता है| जिसके पीछे का मुख्य कारण क्लोस्ट्रीडियम टिटानी बैक्टीरिया है। यह जीवाणु घाव या चोट में विष पैदा करता है नतिजनत टिटनस हो जाता है। इसके चलते धीरे धीरे जहर पूरे शरीर में फैलने लगता है और कई बार तो स्थिति इतनी घातक हो जाती है की टिटनस के कारण कई बार व्यक्ति की मृत्यु भी हो सकती है। इसलिए चोट लगने के बाद तुरंत Tetanus Vaccine लगवाकर इससे होने वाली परेशानियों से बचा जा सकता है।
 

निमोनिया

बदलते मौसम में निमोनिया होने का खतरा बहुत ज्यादा बढ़ जाता है| खास तौर पर यह बच्चो को होता है| खांसी, सीने का दर्द, बुखार, सांस लेने में कठिनाई होना आदि इसके आम लक्षण है|

आपको जानकर आश्चर्य होगा लेकिन वार्षिक रूप से निमोनिया लगभग 450 मिलियन लोगों को प्रभावित करता है और इसके कारण लगभग 4 मिलियन की मृत्यु होती हैं। इसलिए बेहतर यही है की पहले से ही बच्चो को इसका टिका लगा दिया जाये| इसका टिका बाजार में आसानी से उपलद्ध हो जाता है|
 

बच्चों के टीकाकरण से जुडी अन्य बाते

  1. टीकाकरण बच्चो को संक्रामक रोगों से बचाने का सबसे प्रभावशाली तरीका है।
  2. बच्चो को गंभीर बीमारिया नहीं हो उसके लिए सही समय पर टिके जरूर लगवाना चाहिए|
  3. गर्भवती महिलाओं को भी गर्भावस्‍था के दौरान जल्द से जल्द टिटनेस टॉक्‍साइड(टीटी) के  दो टीके लगाये जाने चाहिए।
  4. बच्चे को दस्‍त रोग हो तब भी पोलियो की खुराक अवश्‍य पिलाना चाहिए| क्‍योंकि पूरा न सही लेकिन यह थोड़ी बहुत सुरक्षा तो देगी ही|
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