दिन प्रतिदिन लोगो में अवसाद की समस्या बढ़ती जा रही है। अघिकांश लोग इस समस्या के चपेट में आ चुके है| इनमे युवाओं की संख्या सबसे ज्यादा है| आमतौर पर यह बीमारी 15 सें 35 वर्ष की उम्र में अधिक देखने को मिल रही है। जहां एक और बड़ो को अपने परिवार वालो के पालन पोषण की चिंता है वही बच्चों को भी आजकल पढाई का बहुत अधिक बोझ है|
यदि आपका कोई भी कार्य करने में मन नहीं लग रहा है| आपकी लोगो से मिलने की रूचि नहीं रही है| बिना किसी कारण के आप थकान, आलस और उदासी महसूस करते है| तो इसका तात्पर्य यह है की आप अवसाद के शिकार हो गए है।
बड़े बड़े महानगरों में तो यह समस्या काफी तेजी से बढ़ती जा रही है। सिर्फ हमारे भारत देश में ही नहीं अपितु पुरे विश्वभर में अवसादग्रस्त लोगों की संख्या बढ़ती जा रही है| यह सब देखते हुए विश्व स्वास्थ्य संगठन ने अवसाद को डिप्रेशन ऑफ ग्लोबल क्राइसिस की संज्ञा दी है।
अवसाद किसी भी व्यक्ति को घेर सकता है| कई बार तो यह इतना बढ़ जाता है की लोगो की अपनी जिंदगी से रूचि ही खत्म हो जाती है| खुद को व्यवस्थित करके जैसे दिनचर्या में बदलाव लाकर और सेहत का ख्याल रखकर आप इससे निपट सकते है| लेकिन बहुत से लोगो को मालूम ही नहीं रहता है की उन्हें अवसाद की समस्या है| आइये जानते है Depression Symptoms in Hindi ताकि हम अवसाद को खुद से दूर रख सके|
Depression Symptoms in Hindi: डिप्रेशन के लक्षणों को पहचाने
यदि कोई व्यक्ति किसी भी बीमारी के चलते या फिर भावनात्मक आघात के कारण दो सप्ताह तक अवसाद की स्तिथि में रहता है तो ऐसे में अवसाद का होना सामान्य बात है। क्योकि इन समस्याओं से उबरने के बाद अवसाद के लक्षण खुद ब खुद कम हो जाते है| किन्तु यदि यह लक्षण उसके बाद लगातार बने हुए है तो यह एक गंभीर समस्या हो सकती है। आइये जानते है इसके लक्षणों के बारे में:-सोने की आदतों में बदलाव
जो व्यक्ति अवसाद से ग्रस्त हो जाता है| उसकी नींद की आदतों में कई तरह के बदलाव देखने को मिलते है| देखा गया है की इस स्तिथि में लोगो की नींद उड़ जाती है, वे आधी आधी रात तक जागते रहते है| वही कुछ लोग अपनी चिन्ताओ को दूर करने के लिए अधिक नींद का सहारा लेते है| लेकिन यह दोनों ही स्थितियां खतरनाक होती है|महिलाओं में मासिक धर्म में अनियमितता
महिलाओं में अनियमित मासिक धर्म दर्शाता है कि वह मानसिक रूप से परेशान है| अवसाद की वजह से पिट्यूटरी ग्रन्थि जो कि हारमोन्स को कंट्रोल करती है उसमें बदलाव आ जाते है जिसके कारणवश ओव्यूलेशन की प्रक्रिया बाधित होती है और महिला की प्रजनन क्षमता पर असर पड़ जाता है|हर वक्त सरदर्द रहना
जो लोग डिप्रेशन में चले जाते है उन्हें हर वक्त सर दर्द बना रहता है| छोटी छोटी मुश्किलों को लेकर वे लोग उदास रहते है| दरहसल इसके पीछे का कारण यह की जरुरत से अधिक चिंता हमारे दिमाग पर बुरा असर डालती है और इसी वजह से सिर दर्द होने लगता है| ऐसे वक्त में मनुष्य को लगता है की सब दरवाजे बंद है और उन्हें कोई समाधान नहीं दिखता है|आप यह भी पढ़ सकते है:- सिरदर्द दूर करने में सहायक है चमेली के फूल, जानिए और भी कई फायदे
सोशल साइट्स का इस्तेमाल
वैसे तो इंटरनेट हमारी जीवनशैली का अहम हिस्सा बन चूका है| हर कोई इसका इस्तेमाल करता है लेकिन तनाव ग्रस्त लोग इसका इस्तेमाल कुछ ज्यादा करते है| उन्हें इसकी इतनी आदत हो जाती है की वो इनके बिना रह नहीं सकते है|ऐसे में व्यक्ति अपनी रियल लाइफ की अपेक्षा वर्चुअल वर्ल्ड को अधिक प्राथमिकता देता है जिसकी वजह से उसे कई परेशानियों का सामना करना पड़ता है|
अन्य लक्षण इन्हे भी जानिए:-
- अवसाद से ग्रसित व्यक्ति को ध्यान केन्द्रित करने में दिक्कत होती है|
- पहले से कहीं जल्दी इर्रिटेट या एग्रेसिव हो जाते हैं, और गुस्सा करने लगते हैं|
- डिप्रेशन के दौरान व्यक्ति खुद को बिलकुल असहाय महसूस कर सकता है|
- वे हेल्पलेस और होपलेस महसूस करते है और चाहकर भी नकारात्मक विचारों को दूर नहीं कर पाते है|
- लम्बे समय तक अवसाद के दौर से गुजरने वाले लोग अक्सर अपनी सेहत खोने लगते है| Signs of Depression में यह प्रमुख है|
- अवसाद ग्रस्त व्यक्ति को ज़िन्दगी जीने लायक नहीं लगती और उसके मन में सुसाइड के ख्याल आते है|
- डिप्रेशन में व्यक्ति खुद का ध्यान नहीं रखता है जैसे कई हफ़्तों तक शेव नहीं करता है और अपने पहनावे पर भी ध्यान नहीं देता है|