Postpartum Depression: प्रसव पश्चात डिप्रेशन की समस्या की क्या होते हैं मुख्य वजहें

Postpartum Depression: प्रसव पश्चात डिप्रेशन की समस्या की क्या होते हैं मुख्य वजहें

गर्भावस्था हर महिला को एक तरह का सुखद अनुभव करवाती है। जिसके कारण पूरे परिवार को नन्हे मेहमान के आने लिए ख़ुशी होती है। लेकिन इस नन्हे मेहमान के आने से पहले बहुत सी बातों का ख्याल रखना होता है ताकि माँ और बच्चा दोनों स्वस्थ रह सके। गर्भावस्था के दौरान ख्याल रखने के अलावा अहिला का ख्याल प्रसव के बाद भी रखने की जरुरत होती है।

गर्भावस्था और प्रसव के बाद महिला में कई तरह के चेंजेज देखने को मिलते हैं। महिला को कई तरह की परेशानियों को सहन करना पड़ता है। प्रसव के बाद महिलाओं में भावनात्मक परिवर्तन भी होते है।

कुछ महिलाओ को प्रसव के बाद डिप्रेशन की समस्या भी हो सकती है। इस तरह के डिप्रेशन को पोस्टपार्टम डिप्रेशन भी कहा जाता है। इसे सामान्य भाषा में प्रसवोत्तर अवसाद भी कहते है। इसके लिए महिला को सावधानी रखना ज़रुरी होता है।

इस लेख में हम आपको इसी Postpartum डिप्रेशन की समस्या के बारे में बताने जा रहे है। जो की गर्भवती महिलाओ की जानकारी के लिए बहुत ज़रुरी है। आईये जानते है Postpartum Depression के बारे में।

Postpartum Depression: जाने प्रसवोत्तर अवसाद की समस्या के कारण, लक्षण और उपचार

प्रसवोत्तर अवसाद: Postnatal Depression

  • पोस्टपार्टम डिप्रेशन प्रसव के बाद होने वाला अवसाद होता है। यह महिला की एक प्रकार की मनोदशा होती है।
  • इसमें महिला शिशु के साथ भावनात्मक तालमेल नहीं बना पाती है। साथ ही महिला पर डिप्रेशन होने से नकारात्मक प्रभाव भी पड़ता है।

Depression after Pregnancy के लक्षण

पोस्टपार्टम डिप्रेशन होने पर इसे कुछ लक्षणों को पहचाना जा सकता है जैसे की -

  • मूड में परिवर्तन का होना
  • नकारात्मक भावना का आना
  • निराशा का एहसास
  • उदासी का आभास होना
  • दूसरों से दूर रहने का मन करना
  • शिशु के साथ भावनात्मक रूप से ना जुड़ पाना
  • अकेलापन महसूस होना
  • शिशु के विषय में बुरे ख्याल आना
  • शिशु की देखभाल करने का मन ना होना
  • नींद ना आना

उपरोक्त लक्षणों के दिखने पर डॉक्टर से ज़रुर संपर्क करे।

पोस्टपार्टम डिप्रेशन का कारण

  • पोस्टपार्टम डिप्रेशन प्रसव के बाद हार्मोनल गड़बड़ी होने से भी हो सकता है।
  • गर्भावस्था के दौरान किसी तरह का तनाव भी प्रसव के बाद इसका कारण बन सकता है।
  • यह बीमारी वंशानुगत भी होती है, यदि परिवार में किसी व्यक्ति को डिप्रेशन की समस्या है तो यह महिला को भी हो सकती है।
  • नींद का अभाव भी इसका कारण हो सकती है।
  • आपके किसी परिजन की मृत्यु के कारण भी इस प्रकार की स्थिति आ सकती है।
  • सामाजिक संबंधों में परिवर्तन भी इसका कारण बनता है।

Postpartum Depression Treatment

डॉक्टर से संपर्क करे

  • यदि आपको पोस्टपार्टम डिप्रेशन की समस्या हो रही है तो अपने डॉक्टर से ज़रूर दिखाए। ताकि वह आपकी सही परामर्श दे सके।
  • डॉक्टर आपको इसके लिए एंटी डिप्रेशन के दवाएं भी दे सकता है जिससे आपको मदद मिलेगी। साथ ही आपकी मानसिक स्थिति की जाँच भी कर सकता है।
  • आप डॉक्टर से भी परामर्श कर सकती है, वह आपको डिप्रेशन से निकलने के लिए आसान तरीके बताने में मदद करेंगे।

लाइफस्टाइल में परिवर्तन

  • पोस्टपार्टम डिप्रेशन के लक्षण आमतौर पर दवा और टॉक थेरेपी से ठीक हो जाते है।
  • लाइफस्टाइल में परिवर्तन भी पोस्टपर्टम अवसाद के कुछ लक्षणों को कम करने में भी मदद कर सकते हैं।
  • लाइफस्टाइल में परिवर्तन के कारण भी आपको डिप्रेशन की समस्या होती है जो सही हो सकती है।

पर्याप्त नींद लें

  • इसके अलावा पर्याप्त नींद लेना भी इस अवसाद को कम करने में मदद करता है।
  • नींद सेहत के लिए बहुत ही ज़रूरी होती है। यह आपको तनाव को दूर करके फ्रेश करने में मदद करती है।

व्यायाम की मदद लें

  • आप कुछ व्यायाम की मदद से भी डिप्रेशन को कम कर सकते है।
  • डिप्रेशन को कम करने के लिए व्यायाम बहुत ही फ़ायदेमंद होता है।
  • आप चाहे तो मेडिटेशन भी कर सकती है।

परिवार वालों और दोस्तों से बातचीत

  • इसके लिए अपने परिवार वालों से बात करे और अपने दोस्तों के साथ अपने मन की स्थिति को साँझा करे।
  • अपनी बातें किसी दूसरे के साथ साझा करने पर भी मनःस्थिति बेहतर होती है। यह भी बहुत ही असरकारी होता है।

पौष्टिक भोजन का सेवन

  • पौष्टिक भोजन भी इसके लिए सहायक होता है यह शरीर से थकान को दूर करने में मदद करता है।
  • पौष्टिक भोजन करने से शरीर को ऊर्जा मिलती है और अवसाद की समस्या दूर होती है।

बच्चों से ब्रेक लें

  • आप अपने बच्चे को थोड़ी देर के लिए अपने परिवारवालों को संभालने को दे।
  • ऐसा करने से आपको बीच बीच में रेस्ट करने का समय मिल जाएगा और आप फ्रेश हो पाएंगी।

खुद की देखभाल

  • इसके लिए खुद की देखभाल करना भी ज़रुरी होता है।
  • इससे आपको अवसाद से बाहर निकलने में मदद मिलती है।

संगीत सुने

  • इस स्थिति में कुछ भी अच्छा नहीं लगता है। इसलिए आपको चाहिए आप अपने आप को किसी कामों में व्यस्त रखे।
  • अपने आप को व्यस्त रखने के लिए आप अपना पसंदीदा संगीत भी सुन सकते है। इससे आपका मूड भी अच्छा होगा और तनाव भी दूर होगा।

खुश रहे

  • खुश रहने की कोशिश करे क्योंकि यदि आप खुश रहेंगे तो आपको तनाव नहीं होगा और आपको यह समस्या भी नहीं होगी।
  • साथ ही अपने मन की बात को भी व्यक्त करे। यदि आप अपने मन की बात को अपने मन में ही रखते है तो इससे आप चिड़चिड़े हो सकते है।

आराम करे

  • प्रसव के बाद महिला का शरीर थक जाता है जिसके लिए आराम की जरुरत होती है। इसलिए आपको पर्याप्त आराम करना चाहिए।
  • आप इसके लिए सुबह के समय टहल भी सकती है या ऐसी एक्टिविटी करे जो आपको पसंद हो साथ ही उसमे आपको किसी प्रकार की थकान ना लगे।
  • इसके अतिरिक्त यदि आप ऑफिस भी जाती है तो कुछ दिनों के लिए अवकाश ले लें ताकि आपको पर्याप्त आराम मिल सके।
  • इससे आपको एनर्जी मिलेगी साथ ही डिप्रेशन की समस्या भी नहीं होगी।

उपरोक्त उपायों की मदद से आप पोस्टपार्टम डिप्रेशन की समस्या से निजात पा सकते है। यदि आप यह छोटी छोटी चीजों को करते है तो आपको तनाव बिलकुल भी नहीं होगा और आप अपनी लाइफ को बिना किसी परेशानी के अच्छे से जी सकेंगे साथ ही अपने नन्हे शिशु का भी ख्याल रख सकेंगे।

उपरोक्त उपायों को करने के बाद भी यदि आपको राहत नहीं मिल रही है तो आप देर न करते हुए अपने डॉक्टर को ज़रूर दिखाए क्योंकि यदि इसमें देरी होती है तो इसके परिणाम घातक भी हो सकते है साथ ही इसके होने से शिशु पर भी नकारात्मक प्रभाव पड़ता है जो की सही नहीं होता है। इसलिए यदि आप नयी नयी माँ बनी है तो इस बारे में जानकारी ज़रुर रखे और उसका पालन करे।

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